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एक राष्ट्र-एक चुनाव से देश के संसाधनों और समय की होगी बचत : धर्मपाल सिंह

अथाह संवाददाता
लखनऊ।
भारतीय जनता पार्टी प्रदेश महामंत्री (संगठन) धर्मपाल सिंह ने सोमवार को आगरा के शिवाजी मंडपम में एक राष्ट्र-एक चुनाव परिचर्चा में संवाद किया। धर्मपाल सिंह ने कहा कि एक राष्ट्र-एक चुनाव से देश के संसाधनों और समय की बचत होगी। एक राष्ट्र-एक चुनाव से देश आर्थिक मजबूती और राजनैतिक स्थिरता के साथ विकसित राष्ट्र बनेगा।
प्रदेश महामंत्री (संगठन) धर्मपाल सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदीके नेतृत्व में वैभवशाली, सम्पन्न, समृद्ध और विकसित भारत का निर्माण हो रहा है। लेकिन विकसित भारत के निर्माण में बार-बार होने वाले चुनाव सबसे बड़ी बाधा है। आजादी से लेकर अब तक देश में 400 से अधिक चुनाव हुए है। हर वर्ष देश में कहीं ना कहीं चुनाव की तैयारी होती रहती है। एक चुनाव समाप्त नही हो पाता है और दूसरा चुनाव प्रारम्भ हो जाता है। उन्होंने कहा कि बार-बार चुनाव होने से आचार संहिता लगती है और आचार संहिता लगने से विकास के कार्य प्रभावित होते है। हर चुनाव के लिए वोटर लिस्ट बनाई जाती है। सरकारी कर्मचारियों और अधिकारियों की ड्यूटी चुनाव में लगती है जिससे उनके विभाग का काम पूरी तरह से ठप हो जाता है। देश का धन और मानव संसाधन राष्ट्र निर्माण में लगेगा तो देश जल्द ही विकसित राष्ट्र बनेगा। उन्होंने कहा कि 1967 तक देश में लोकसभा व विधानसभा के एक साथ चुनाव होते थे। तो आज विपक्ष का एक राष्ट्र-एक चुनाव का विरोध अतार्किक भी है और अव्यवहारिक भी है।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने पहल की और पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविदकी अध्यक्षता में कमेटी गठित की, जिसने 1 वर्ष तक देशभर में भ्रमण कर 8,000 पृष्ठों की रिपोर्ट तैयार की। इसमें सभी वर्गों के लोगों की राय को शामिल करते हुए एक देश-एक चुनाव की सिफारिश की गई। कमेटी ने सभी चुनाव के लिए एक ही वोटर लिस्ट बनाने की बात कही है। अब एक राष्ट्र-एक चुनाव का विषय जनता के बीच है। उन्होंने कहा कि देश की जनता बहुत परिपक्व है और भारत का लोकतंत्र भी परिपक्व है, जो एक राष्ट्र-एक चुनाव के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि आज सभी के विचार करने का समय है कि देश में 5 वर्ष में एक बार लोकसभा व विधानसभा के चुनाव एक साथ हों, उसके 100 दिन बाद ही नगर निकाय व पंचायत चुनाव संपन्न हो। आगामी पूरा समय और संसाधन देश व देशवासियों की आर्थिक मजबूती के लिए उपयोग किया जाये।

धर्मपाल सिंह ने कहा कि अब समय आ गया है कि हम अपने लोकतंत्र को अनावश्यक खर्चों, लगातार होते चुनावों और राजनैतिक अस्थिरता की बेडियों से मुक्त करें। एक राष्ट्र-एक चुनाव से आर्थिक नीतियों में निरन्तरता आएगी जिससे व्यापार और रोजगार को मजबूती मिलेगी। उन्होंने कहा कि सिर्फ विरोध के लिए विरोध करना विपक्ष का एजेंडा है। विचारों का विरोध हो सकता है परन्तु यदि राष्ट्रहित का कार्य है तो उसका स्वागत सभी को करना चाहिए। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदीने एक राष्ट्र-एक चुनाव के विचार को मजबूती देते हुए हाईलेवल कमेटी बनायी है। यह कमेटी लोकभावना के अनुरूप कार्य करेगी। उन्होंने कहा कि हम सभी कॉलेज परिसरों में, खेत-खलिहानों में, दुकानों और प्रतिष्ठानों में गांव, गली, शहरों में लोगों से राष्ट्रहित में एक देश-एक चुनाव पर चर्चा करें। लोकमत तैयार करें और वैभवशाली विकसित भारत के निर्माण में अपनी भूमिका सुनिश्चित करें।

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