अथाह ब्यूरो, जम्मू-कश्मीर। हाल ही में नजर बंद से रिहा हुई पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती अपने बयान को लेकर एक बार फिर सुर्खियों में आई। इस बार उन्होंने तिरंगे को लेकर दिया विवादित बयान। महबूबा के इस बयान पर पार्टी के कार्य कर्ताओ ने अपनी नराजगी दिखते हुए पार्टी को अपना इस्तीफा दे दिया। पार्टी में मची इस हलचल।
महबूबा मुफ्ती के तिरंगे वाले बयान को लेकर जम्मू पीडीपी के कुछ नेता खफा चल रहे हैं। वेद महाजन का कहना है कि आने वाले दिनों में जम्मू रीजन से और भी नेता इस्तीफा देंगे। दरअसल, महबूबा मुफ्ती ने तिरंगे को ना उठाने की बात कही थी।
महबूबा ये कहा कि हम अनुच्छेद 370 वापस लेकर रहेंगे। जब तक ऐसा नहीं हो जाता, मैं कोई भी चुनाव नहीं लड़ूंगी। जिस वक्त हमारा ये झंडा (कश्मीर का झंडा) वापस आएगा, हम उस (तिरंगा) झंडे को भी उठा लेंगे। मगर जब तक हमारा अपना झंडा, जिसे डाकुओं ने डाके में ले लिया है, तब तक हम किसी और झंडे को हाथ में नहीं उठाएंगे।
महबूबा के इस बयान के बाद ही काफी राजनीतिक तकरार बढ़ी है। बीजेपी की ओर से जम्मू और कश्मीर क्षेत्र में तिरंगा रैली निकाली गई तो वहीं कई पीडीपी कार्यालयों पर तिरंगा फहराया गया। गुपकार गठबंधन में पीडीपी की साथी नेशनल कॉन्फ्रेंस ने भी महबूबा मुफ्ती के तिरंगे वाले बयान से किनारा कर लिया था।