इस बार (Ganpati visarjan) कोरोना वायरस के चलते लोगों खुलकर जश्न नहीं मना सके। सड़कों पर ना तो नगाड़ों की गूंज सुनाई दी और ना ही समुद्र के किनारों पर बप्पा की विशाल मूर्तियों के साथ धूम-धाम से सेलिब्रेट सैलाब दिखा।
कोरोना वायरस के और सोशल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखते हुए गणपति महोत्सव पर जोर-शोर से विदाई नहीं दे पाए।
कोरोना वायरस के चलते इस बार का गणपति महोत्सव फिखा फिखा सा रहा। लोगों ने छोटे-छोटे आर्टिफिशियल तालाबों में भगवान गणेश जी की मूर्ति का विसर्जन किया और उनसे कोरोना (Coronavirus) के इस संकट काल को समाप्त करने की प्रार्थना की।
सकड़ों से विसर्जन के लिए गणपति जी (Ganpati) की मूर्ति ले जाते लोग मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते दिखे। जबकि अनंत चतुर्दशी के पवन अवसर पर हर साल लोगों का बढ़ा सैलाब इकट्ठा होकर जश्न मनाया करते थे।
नोएडा में तो कुछ लोगों ने सड़कों पर निकले बिना ही घर में किसी छोटे टब या पात्र में भगवान गणेश जी की छोटी-छोटी मूर्तियों का विसर्जन किया ।