Dainik Athah

इंडो-यूएस की स्किल और स्केल मिल जाएं तो दुनिया को मिलेंगे बेहतरीन परिणाम: सीएम योगी

  • सीएम योगी की उपस्थिति में यूएस की स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी द्वारा एसजीपीजीआई और गौतमबुद्धनगर के जिम्स के बीच हुआ पार्टनरशिप करार
  • आज प्रदेश में इनोवेशन और स्टार्ट-अप के लिए अनुकूल माहौल: सीएम योगी
  • सीएम बोले, पिछले 6 वर्षों में प्रदेश ने इंसेफेलाइटिस को दी करारी मात

अथाह ब्यूरो
लखनऊ।
पिछले 9 वर्षों में देश में नए-नए स्टार्टअप स्थापित हुए हैं। भारत ने यूनिकॉर्न के रूप में नया स्थान बनाया है। उत्तर प्रदेश भी इन वर्षों में तेजी के साथ आगे बढ़ा है। पूरी दुनिया में कोविड-19 महामारी के दौरान भारत का बेहतरीन प्रदर्शन रहा। इसमें उत्तर प्रदेश अपना अग्रणी योगदान देते हुए बेहतरीन स्वास्थ्य सुविधाओं वाले प्रदेश के रूप में उभरा है। यूएस की आबादी की चार गुना आबादी भारत में है। अगर कोविड-19 की बात की जाए तो भारत में जो मृत्युदर रही, वह यूएस से आधी रही। जो यह दर्शता है कि दोनों देशों भारत-यूएस की स्किल और स्केल मिल जाएंगे तो दुनिया में इसके बेहतरीन परिणाम देखने को मिलेंगे। ये बातें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को उत्तर प्रदेश हेल्थ टेक्नोलॉजी समिट 2023 के तहत यूएस की स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी और प्रदेश के दो प्रतिष्ठित संस्थानों एसजीपीजीआई और गौतमबुद्धनगर के जिम्स के साथ मेडिकल फील्ड में हुए पार्टनरशिप कार्यक्रम के दौरान कही।

6 वर्षों में प्रदेश से इंसेफेलाइटिस को पूरी तरह समाप्त किया गया
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि इंडो-यूएस सेतु के ग्लोबल फाउंडेशन के साथ हुए इस पार्टनरशिप के लिए सरकार उत्सुकता के साथ पूरा सपोर्ट करेगी। आज उत्तर प्रदेश में यूएस के इनोवेशन, स्टार्टअप के लिए एक अच्छा माहौल है। आज पार्टनरशिप कार्यक्रम से जुड़े प्रतिष्ठित संस्थान के साथ आईटी एंड इलेक्ट्रानिक विभाग भी इसे सपोर्ट करेगा, ताकि इसके जल्द से जल्द सकारात्मक परिणाम देखने को मिलें। उत्तर प्रदेश सरकार ने अपनी स्टार्ट-अप पॉलिसी के तहत कई स्टार्ट-अप स्थापित किए हैं। इनकी स्थापना के लिए सरकार ने तमाम तरह के रिलैक्सेशन दिए हैं। इनको प्रिक्योर्ड करने के लिए भी व्यवस्था की गयी है। सरकार की इन नीतियों को फायदा उठाते हुए एसजीपीजीआई ने कोविड-19 के दौरान वर्चुअल आईसीयू की सुविधा प्रारंभ की। ऐसे में प्रदेश के किसी भी शहर में कोई प्रॉब्लम होती थी तो एसजीपीजीआई की टीम वहां पहुंचकर राहत देती थी। यह इनोवेशन का बेहतरीन उदाहरण है। प्रदेश में 1977 से लेकर 2017 के बीच इंसेफेलाइटिस से लगभग 50000 बच्चों की मौतें हुई थी। वहीं हमने पिछले 6 वर्षों में इंसेफेलाइटिस को पूरी तरह से समाप्त करने में सफलता प्राप्त की है। इस सफलता को प्राप्त करने में हेल्थ डिपार्टमेंट के साथ-साथ अन्य सहयोगी विभागों ने टीम वर्क के रूप में काम किया और बेहतरीन प्रदर्शन किया।

टेक्नोलॉजी से जुड़ेगा सीतापुर का आई हॉस्पिटल
सीएम योगी ने कहा कि प्रदेश ने मलेरिया, चिकनगुनिया, डेंगू समेत अन्य जल जनित और वेक्टर बोर्न डिजीज भी नियंत्रित करने में सफलता प्राप्त की है। हमारा मानना है कि मेडिकल हेल्थ में इस प्रकार के स्टार्ट-अप को बढ़ाने के लिए यह पार्टनरशिप बहुत उपयोगी साबित होगी। कार्यक्रम के दौरान सीएम ने सीतापुर के आई हॉस्पिटल को टेक्नोलॉजी से जोड़ने की अपील की, क्योंकि वह उस काल खंड में एक मात्र ऐसा हॉस्पिटल था, जहां देश ही नहीं विदेशों से भी लोग अपनी आंख का इलाज कराने आते थे। इसके लिए उन्होंने इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ अन्य सभी जरूरी सुविधाएं उपलब्ध कराने की बात कही।
कार्यक्रम में मुख्य सचिव दुगार्शंकर मिश्र, अपर मुख्य सचिव (मुख्यमंत्री) एसपी गोयल, चिकित्सा शिक्षा के प्रमुख सचिव आदि मौजूद रहे।


Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *