– हर माह की 21 तारीख को उपलब्ध कराई जाती हैं परिवार नियोजन की सभी सुविधाएं
– बच्चों में अंतर और इच्छानुसार परिवार प्लान करने का ही नाम है परिवार नियोजन
हापुड़। परिवार नियोजन को लेकर किसी तरह की उलझन या फिर कोई सवाल है तो खुशहाल परिवार दिवस में पहुंचें। परिवार नियोजन संबंधी जागरूकता तथा स्वीकार्यता बढ़ाने के लिए जनपद की सभी स्वास्थ्य इकाईयों पर हर माह की 21 तारीख को खुशहाल परिवार दिवस का आयोजन किया जाता है। इस दिन न केवल परिवार नियोजन से संबंधित सभी सेवाएं उपलब्ध कराई जाती हैं बल्कि यह भी बताया जाता है कि परिवार नियोजन क्यों जरूरी है। यह बातें मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डा. रेखा अग्रवाल ने कहीं। उन्होंने कहा दो बच्चों के बीच तीन साल का सुरक्षित अंतर रखने और सोच समझकर अपने परिवार को प्लान करने का नाम है परिवार नियोजन।
सीएमओ ने कहा – परिवार नियोजन को लोग सीधे जनसंख्या नियंत्रण से जोड़कर देखते हैं, जबकि ऐसा नहीं है। मां और बच्चे के बेहतर स्वास्थ्य के लिए दो बच्चों के बीच तीन साल का अंतर होना जरूरी है। इतने समय में ही किसी महिला का शरीर दोबारा मां बनने के लिए तैयार हो पाता है और पहले बच्चे की परवरिश भी ठीक से हो पाती है। परिवार नियोजन कार्यक्रम के नोडल अधिकारी एसीएमओ डा. प्रवीण शर्मा ने बताया – खुशहाल परिवार दिवस में मातृ स्वास्थ्य के लिए परिवार नियोजन की उपयोगिता और परिवार नियोजन के साधनों के बारे में विस्तार से जानकारी देने के साथ ही दंपति अपनी इच्छा के मुताबिक निशुल्क परिवार नियोजन साधनों का विकल्प चुन सकते हैं। किसी साधन को लेकर यदि किसी के मन में कोई संशय है, तो उसे भी दूर किया जाता है।
16 महिलाओं ने नसबंदी कराई :
जिला परिवार नियोजन विशेषज्ञ बृजभान यादव ने बताया- सोमवार को आयोजित खुशहाल परिवार दिवस के दौरान पूरे जिले में अपना परिवार पूरा कर चुकीं 16 महिलाओं ने अपनी इच्छा से नसबंदी (एफएसटी) का विकल्प चुना। इसके अलावा बच्चों के बीच सुरक्षित अंतर के लिए परिवार नियोजन के अस्थाई साधनों की बात करें तो 18 महिलाओं ने आईयूसीडी, 18 महिलाओं ने पीपीआईयूसीडी, 12 महिलाओं ने गर्भनिरोधक इंजेक्शन अंतरा लगवाया। इसके अलावा 50 गर्भनिरोधक गोलियां छाया और 78 माला-एन वितरित की गईं।