Dainik Athah

संयुक्त किसान मोर्चा के भारत बंद का गाजियाबाद में मिला-जुला असर

– भारतीय किसान यूनियन से जुड़े किसानों ने कई जगह पर जाम लगाकर किया विरोध प्रदर्शन

– हापुड़ रोड पर किसानों ने निकाली ट्रैक्टर मोटरसाइकिल रैली

– कई जगह पर चक्का जाम की वजह से वाहनों की लगी रही कतारें

– किसानों के जाम लगाने के दौरान मूकदर्शक बना रहा पुलिस-प्रशासन

अथाह संवाददाता
गाजियाबाद। तीनों कृषि कानूनों को रद्द किए जाने की मांग को लेकर संयुक्त किसान मोर्चा के भारत बंद का गाजियाबाद में मिला-जुला असर रहा। भारतीय किसान यूनियन से जुड़े किसानों ने जिले में कई जगह पर जाम लगाकर विरोध प्रदर्शन किया। लेकिन कुछ देर के बाद ही पुलिस प्रशासन के अधिकारियों ने जाम को खुलवा कर यातायात सुचारू किया हो। लेकिन वाहन चालकों को सबसे ज्यादा मुसीबत एहतियात के तौर पर पुलिस द्वारा डाइवर्ट किए गए रूट से हुई। जिसके चलते महाराजपुर बॉर्डर पर जाम की स्थिति बनी रही। जाम की वजह से दिल्ली मेरठ एक्सप्रेसवे पर वाहनों का आवागमन बेहद कम रहा। हालांकि जो वाहन दिल्ली मेरठ एक्सप्रेसवे से निकले उन्हें किसान आंदोलन की वजह से परेशानी का सामना करना पड़ा। खास बात यह है कि किसानों ने जहां भी विरोध प्रदर्शन और जाम लगाया। वहां पर पुलिस प्रशासन मौजूद रहा, लेकिन मूकदर्शक बना रहा और वाहनों में सवार लोग परेशान रहे‌।


आपको बता दें कि संयुक्त किसान मोर्चा के भारत बंद को देखते हुए गाजियाबाद यातायात पुलिस ने पहले ही एडवाइजरी जारी कर दी थी और डायवर्ट प्लान को सार्वजनिक किया था। पुलिस ने यूपी गेट की ओर जाने वाले रूट को पहले ही डाइवर्ट कर दिया था। जिसके चलते गाजीपुर बॉर्डर पर किसान धरना स्थल पर हुक्का गुड़गुड़ाते नजर आए। यहां किसानों ने शांतिपूर्ण ढंग से धरना दिया।


भारतीय किसान यूनियन से जुड़े किसानों ने हापुड़ रोड स्थित सीबीआई अकेडमी के सामने ट्रैक्टर ट्रॉली में वाहनों का जुलूस निकाला और प्रदर्शन करते हुए जाम लगाया। प्रदर्शन में रजापुर, सदरपुर समेत आसपास के किसान शामिल रहे। किसानों के प्रदर्शन के चलते हापुर रोड पर कुछ समय के लिए वाहनों की लंबी कतारें लग गई। बाद में किसानों ने पुलिस प्रशासन को अपना मांग पत्र सौंपा। तब जाकर यातायात सुचारू हो सका।
संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर सीटू के भवन निर्माण मजदूर यूनियन ने अंबेडकर रोड स्थित सीटू कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया और किसान आंदोलन को अपना समर्थन देते हुए तीनों कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग की। भारतीय किसान यूनियन ने निवाड़ी-सौंदा गंग नहर पुल पर चक्का जाम किया। कांवड़ मार्ग पर लगाए गए जाम की वजह से काफी समय तक वाहनों की कतारें लग गई। बाद में पुलिस प्रशासन के समझाने पर किसानों ने जाम खोला। इस दौरान भारतीय किसान यूनियन के मेरठ मंडल उपाध्यक्ष सत्येंद्र त्यागी ने राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन एसीएम उमाकांत तिवारी को सौंपा। जिसमें उन्होंने मोदी शुगर मिल पर किसानों के बकाया 200 करोड़ रुपए का भुगतान जल्द से जल्द कराने की मांग की। गंग नहर पर प्रदर्शन करने वालों में मनोज त्यागी, संदीप जीनवाल, संजीव यादव, ब्रज भूषण त्यागी, गौरव त्यागी, सुंदरलाल, विजेंद्र सिंह, हरेंद्र सिंह, आदित्य, रविंदर, अजीत पाल सिंह, ज्ञानेंद्र सिंह, ईश्वर दयाल, हरेंद्र मुखिया, ओमवीर, राजवीर, सुरेंद्र, सुबोध त्यागी, तेजवीर सिंह, विनोद त्यागी, बालिस्टर त्यागी, जहीर अहमद आदि किसान शामिल रहे।


इसी तरह भाइयों ने दिल्ली मेरठ एक्सप्रेस वे पर स्थित मुरादाबाद गांव के किसानों ने किसान नेता बबली गुर्जर मैं सतीश राठी के नेतृत्व में एक्सप्रेस वे पर चक्का जाम कर दिया बाद में थानाध्यक्ष भोजपुर पुलिस बल व प्रशासन के साथ मौके पर पहुंचे और किसानों को समझा कर जाम खुलवाया किसानों ने सुबह 10 बजे से 2 बजे तक जाम लगाए रखा जिसकी वजह से वाहनों की लंबी कतारें लग गई प्रदर्शन के दौरान किसानों ने केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और तीनों कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग की प्रदर्शन में महेश सिंह, राज सिंह, शत्रु जीत प्रमुख, धीरज सिंह, शक्ति गुर्जर आदि शामिल रहे।

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