अथाह ब्यूरो
लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा है कि भाजपा सरकार विरासत और धरोहर को बर्बाद कर रही है। आस्था को व्यापार बना रही है। वृंदावन में कॉरिडोर के नाम पर जमीनों का खेल हो रहा है। भाजपा की नजर जमीनों पर है। अपने कुछ लोगों को लाभ पहुंचाने के लिए भाजपा लाखों लोगों को उजाड़ रही है। ये कारीडोर रास्ता नहीं आस्था है। वृंदावन की गलियां आस्था की गलियां है। उनका हेरीटेज वैसा ही रहना चाहिए। सरकार चौड़ीकरण के नाम पर पुरानी चीजों को खत्म कर रही है। बात चौड़े रास्तों की नहीं, मैनेजमेंट की होती है। अगर चौड़ा स्थान से ही भीड़ संभल सकती है तो कुंभ खुले मैदान में लगा था वहां क्यों भगदड़ हो गयी।
समाजवादी पार्टी के प्रदेश मुख्यालय लखनऊ में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में यादव ने कहा कि भाजपा सरकार मैनेजमेंट में फेल हो जाता है। उसके सुधारने के बजाय तोड़फोड़ और बबार्दी करती है। भाजपा सरकार को उन देशों से प्रेरणा लेना चाहिए जिन्होंने अपनी विरासत और संस्कृति को बचाते हुए विकास किया है। वृंदावन में जो लोग आते है वे कुंज गलियों को देखने आते है। कुंज गलियों में राधा-कृष्ण के हजारों गीत बने हैं। उनका अपना इतिहास है। उन्होंने कहा कि सारा झगड़ा जमीन का हैं जिस तरह से भाजपा ने अयोध्या में जमीनों में हेरफेर किया, वाराणसी में हजारों मंदिर तोड़े वही वृंदावन में भी करना चाहती है। मथुरा वृंदावन में पांच हजार से ज्यादा मंदिर हैं। जिन्हें पुराने जमाने के तमाम राजाओं और महाराजाओं ने उन्हें बनवाया है। भाजपा अपने लोगों को ठेका देकर उनसे चंदा वसूली करती है। मुआवजा के नाम पर घोटाला करती है।
अखिलेश यादव ने कहा कि जनता आज मजबूर है। प्रदेश में नई सरकार आयेगी तब विकास के नाम पर भाजपा की विनाश की नीति हमेशा के लिए समाप्त कर दी जाएगी। हर मुआवजा, घोटाले की जांच होगी। श्री यादव ने कहा कि भाजपा सरकार ने कई जगह जमीनों के अधिग्रहण के बदले में मुआवजा नहीं दिया या अपने लोगों को खुश करने के लिए खेल करते है। भाजपा जिस तरह का काम कर रही है उसे मथुरा वृंदावन कभी माफ नहीं करेगा।
यादव ने कहा कि भाजपा के लिए भाजपाई टेज्निंग मैनुअल में महाभ्रष्टाचार का एक अध्याय है कॉरिडोर करप्शन। कैसे धन सम्पत्ति पर नियंत्रण कर लें? कैसे सरकारीकरण करेंगे? कैसे चढ़ावे से भाजपाई अपनी जेब भरेंगे? कैसे सुविधाओं के नाम पर जनता को गुमराह करते है? कैसे आसपास की जमीन पर कब्जा करें? कैसे मुआवजा के नाम पर कमाई करे? कैसे जमीनों को औने-पौने दाम पर खरीदे? कैसे बाद में दूसरे को दुगना रेट पर जमीनों को बेंचे? कैसे छोटे दुकानों को नुकसान पहुंचाए? कैसे बाहरी लोगों के सहारे राजनीति करे? कैसे आस्था को व्यापार बनाये? अयोध्या में कुछ मिनटों में जमीनों में कितना घपला हुआ, सभी ने देखा। उन्होंने कहा कि भाजपा आस्था को व्यापार न बनाये। आस्था को आस्था रहने दें। जो वहां की परम्परागत चीजें होती रही हैं उस आर्टिटेक्चर को नष्ट न करें।
इस अवसर पर पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेन्द्र चौधरी, प्रदेश अध्यक्ष श्याम लाल पाल, विधायक अमिताभ बाजपेयी, नफीस अहमद, पूर्व सांसद वीरपाल यादव, शंखलाल मांझी, पूर्व मंत्री राम आसरे विश्वकर्मा समेत अन्य नेता मौजूद रहे।