Dainik Athah

मंत्री समूह अपने प्रभार वाले मण्डलों- जिलों का तत्काल भ्रमण कर राहत एवं बचाव कार्यों को और बेहतर बनाने में सहयोग करें: मुख्यमंत्री

मुख्यमंत्री ने एक उच्चस्तरीय बैठक अतिवृष्टि से उत्पन्न स्थिति की समीक्षा की

अतिवृष्टि से प्रभावित सभी जनपदों में राहत एवं पुनर्वास कार्य तेज करने के निर्देश

जनपदीय कंट्रोल रूम को 24 घंटे क्रियाशील रखें: योगी आदित्यनाथ

आपदा में दिवंगत हुए व्यक्तियों के परिजनों को राहत राशि तत्काल वितरित करें, घायलों का समुचित उपचार करायें
-बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत एवं बचाव कार्य हेतु आवश्यकतानुसार एनडीआरएफ, एसडीआरएफ तथा पीएसी की टीमें तैनात करने के निर्देश

अथाह ब्यूरो
लखनऊ।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सरकारी आवास पर आहूत एक उच्चस्तरीय बैठक में प्रदेश में पिछले दिनों हुई अतिवृष्टि से उत्पन्न स्थिति की समीक्षा की। उन्होंने निर्देश दिए कि मंत्री समूह अपने प्रभार वाले मण्डलों/ जनपदों का तत्काल भ्रमण कर राहत एवं बचाव कार्यों को और बेहतर बनाने में सहयोग करें। उन्होंने अतिवृष्टि से प्रभावित सभी जनपदों में राहत एवं पुनर्वास कार्य तेज करने और अपर जिलाधिकारी/ ज्वाइंट मजिस्ट्रेट स्तर के अधिकारी के नेतृत्व में जनपदीय कंट्रोल रूम को 24 घंटे क्रियाशील रखने के निर्देश दिए हैं।


मुख्यमंत्री ने कहा कि विगत कुछ दिनों में अत्यधिक बरसात से जनजीवन, पशुधन और खेती-किसानी पर प्रतिकूल प्रभाव देखने को मिला है। कई जिलों में जन-धन हानि की सूचना मिली है। राज्य सरकार सभी प्रभावित जनों की सुरक्षा और भरण-पोषण के आवश्यक प्रबंध करने को प्रतिबद्ध है। अतिवृष्टि, आकाशीय विद्युत, सर्पदंश तथा डूबने से हुई जनहानि पर दु:ख व्यक्त करते हुए उन्होंने आपदा में दिवंगत हुए व्यक्तियों के परिजनों को अनुमन्य राहत राशि तत्काल वितरित किए जाने तथा घायलों का समुचित उपचार कराने के निर्देश दिए हैं।


मुख्यमंत्री ने कहा कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में आमजन को तत्काल मदद पहुंचाई जाए। राहत पैकेट के वितरण में देरी न हो। राहत शिविरों में प्रकाश आदि का पर्याप्त प्रबंध होना चाहिए। उन्होंने कहा कि यह संवेदना और सहयोग का समय है। हमारी पूरी टीम एकजुट होकर कार्य करे।
योगी आदित्यनाथ ने निर्देश दिए कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में विभिन्न जलजनित- मच्छर जनित बीमारियों के प्रसार की आशंका होती है। साथ ही सर्पदंश की घटनाएं बढ़ने की भी सम्भावना रहती है। ऐसे में राहत शिविरों के समीप स्वास्थ्य शिविर संचालित किये जाएं। यहां एण्टी वेनम इंजेक्शन की उपलब्धता जरूर रहे। कृषि फसलों पर पड़े प्रभाव की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी जिलों में राजस्व और कृषि विभाग की टीम गहन सर्वेक्षण करते हुए नुकसान का आकलन करे, ताकि किसानों को क्षतिपूर्ति की जा सके। उन्होंने इस कार्य को शीर्ष प्राथमिकता दिए जाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पशुधन की सुरक्षा सुनिश्चित करने के निर्देश देते हुए कहा कि इन क्षेत्रों में पशुचारे का पर्याप्त प्रबन्ध किया जाए।

मुख्यमंत्री ने सभी बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत एवं बचाव कार्य हेतु आवश्यकतानुसार एनडीआरएफ, एसडीआरएफ तथा पीएसी की टीमें तैनात करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि नदियों के जलस्तर की सतत निगरानी की जाए।

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