प्रदेश की महिलाओं ने लगाई सुशासन, सुरक्षा, स्वावलंबन पर मुहर
प्रदेश की महिला लाभार्थियों को मिलेगा योजनाओं का दोगुना लाभ
सरकारी नौकरियों में महिलाओं को संख्या को किया जाएगा दोगुना, आधी आबादी को योगी सरकार में मिलेगा पूरा सम्मान
अथाह ब्यूरो,
लखनऊ। सुशासन, सुरक्षा, स्वावलंबन पर मुहर लगाते हुए महिलाओं ने उत्तर प्रदेश में योगी सरकार को अपना आशीर्वाद दिया है। ग्रामीण और शहरी क्षेत्र की महिलाओं ने परिवारवादी पार्टी की राजनीति को नकारते हुए राष्ट्रवाद को अपना बहुमूल्य वोट दिया। योगी सरकार ने प्रदेश की महिलाओं को अपने पिछले पांच साल के कार्यकाल में ढेर सारी सहूलियत देते हुए एक ओर बेटियों को शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ाया तो वहीं महिलाओं के हाथों में स्वरोजगार की बागडोर थमाने का काम किया। पिछले पांच साल से नारी सुरक्षा, सम्मान और स्वावलंबन के स्वर को बुलंद करने वाली बीजेपी ने इस बार भी प्रदेश की महिलाओं और बेटियों के उत्थान के लिए संकल्प पत्र में महिलाओं से जुड़ी योजनाओं को प्राथमिकता दी है।
संकल्प पत्र में महिलाओं और बेटियों के लिए लागू स्वर्णिम योजनाओं की राशि को बढ़ाने की घोषणा भी की। जिसके तहत मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत दी जाने वाली 15 हजार की राशि को बढ़ाकर 25 हजार, विधवा एवं निराश्रित महिला पेंशन योजना की राशि को 1500 रुपये प्रति माह किया जाएगा। इसके साथ ही मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत गरीब परिवार की बेटियों के विवाह के लिए 1 लाख रुपये की आर्थिक मदद, एक करोड़ महिलाओं को एक लाख रुपये तक का न्यूनतम दर पर लोन दिया जाएगा।
लोक सेवा आयोग समेत सरकारी नौकरियों में महिलाओं की संख्या होगी दोगुनी
प्रदेश में लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) सहित सभी सरकारी नौकरियों में महिलाओं की संख्या को दोगुना करने के साथ ही तीन नई महिला बटालियन के नेटवर्क का विस्तार, 1000 करोड़ की लागत से मिशन पिंक टॉयलेट स्थापित किए जाएगें। यूपी की महिला खिलाड़ियों के लिए 500 करोड़ की लागत के साथ स्टेट टैलेंट सर्च एंड डेवलपमेंट स्कीम शुरू करने के साथ ही चुनी गई महिला एथलीटों को पांच लाख तक की वित्तीय सहायता प्रदान की जाएगी।
महिला सुरक्षा व स्वावलंबन के लिए प्रतिबद्ध है सरकार
प्रदेश में सार्वजनिक स्थानों और शैक्षणिक संस्थानों के पास सीसीटीवी कैमरे लगवाने के साथ 3,000 पिंक पुलिस बूथ स्थापित किए जाएगें। स्वयं सहायता समूह में काम करने वाली लगभग एक करोड़ महिलाओं को आत्मनिर्भर एसएचजी क्रेडिट कार्ड के जरिए एक लाख तक का ऋण न्यूनतम दर पर उपलब्ध कराया जाएगा। आंगनबाड़ी कार्यकतार्ओं एवं स्वास्थ्य सखियों को आयुष्मान भारत के तहत स्वास्थ्य बीमा, मिशन मोड पर दिया जाएगा।