आपको याद होगा जब सीएए को लेकर मुस्लिम महिलाएं तकरीबन देश व प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में सड़कों पर आ गई थी। इन लोगों को कुछ लोग पर्दे के पीछे से मदद भी कर रहे थे। केवल दिल्ली को छोड़ दिया जाये तो प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में इस मामले में पुलिस व प्रशासन ने सख्ती से काम लेकर मामले को बड़ा नहीं होने दिया। अब एक बार फिर इसी प्रकार का विवाद पिंजरे से बाहर आ गया है। जिस प्रकार एक के बाद एक देश के अधिकांश हिस्सों में महिलाएं एवं कुछ युवतियों ने इस विवाद में कूद कर हवा दे दी है इससे यह संदेश भी जा रहा है कि यह विवाद भी सीएए की तर्ज पर सोची समझी साजिश का हिस्सा है। वह भी ऐन यूपी, गोवा, उत्तराखंड, पंजाब चुनाव के बीच में। हालांकि यूपी में मुस्लिम वर्ग पार्टी विशेष के पक्ष में लामबंद है। लेकिन इस प्रकार के विवाद को हवा देकर इसे चुनाव में लाभ प्राप्त करने के हिस्से के रूप में देखा जा रहा है। यूपी चुनाव का अभी एक चरण ही हुआ है। दूसरे चरण में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के नौ जिलों के साथ ही गोवा एवं उत्तराखंड में वोटिंग होनी है। इसके बाद यूपी चुनाव के पांच चरण शेष रहते हैं। सूत्रों के अनुसार वर्ग विशेष को लामबंद करने के लिए ही इस विवाद को हवा दी जा रही है। हालांकि इसको लेकर केंद्रीय खुफिया एजेंसियां सतर्क है। लेकिन यूपी के पुलिस- प्रशासन एवं खुफिया एजेंसियों को भी सतर्क रहना होगा। इस विवाद को हवा देने वालों को भी चिन्हित करने की आवश्यकता है। इस नये विवाद के चलते देश एवं प्रदेश के माहौल को खराब होने से रोकना होगा।