रविवार को सांसद खेल स्पर्धा का आयोजन बड़े जोर शोर से हुआ। लेकिन इसी के बीच एक खेला भी हो गया। हाथी वाली पार्टी से निकलने के बाद जो नेताजी लंबे समय से भाजपा में शामिल होने के लिए हाथ पांव मार रहे थे। उनकी मन मांगी मुराद पूरी हो गई। यह मुराद भी स्थानीय सांसद एवं केंद्रीय राज्यमंत्री के साथ ही भाजपा के एक वरिष्ठ नेता के प्रयासों से। नेताजी भाजपा में शामिल होने के लिए किस कदर प्रयासरत थे यह तो ब्लाक प्रमुख चुनाव के दौरान ही सामने आ गया था। लेकिन भाजपा प्रत्याशी को हराने के लिए नेताजी ने पूरी ताकत भी लगाई थी। लेकिन इसमें वे सफल नहीं हो सके यह अलग बात है। लेकिन नेताजी के भाजपा में आने के बाद से वे फेसबुक पोस्ट एवं बयान भी अब पार्टी में वायरल होने शुरू हो गये हैं जो उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के खिलाफ दिये थे। लखीमपुर कांड के बाद समाचार पत्रों में छपे बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। अब भाजपा कार्यकर्ता पूछ रहे हैं कि क्या नेताजी का ह्रदय परिवर्तन हर माह हो जाता है। कभी वे भाजपा में शामिल होने के लिए प्रयास करते हैं, कभी सांसद जी के पीछे घूमते हैं, कभी मुख्यमंत्री के खिलाफ एवं भाजपा के बयान देते हैं, फिर कमल का फूल हाथ में ले लेते हैं। लेकिन यह भी देखने वाली बात है कि आखिर उनका अगला ह्रदय परिवर्तन विधानसभा चुनाव में होता है अथवा इसके बाद। लेकिन महानगर अध्यक्ष के हाथों पटका पहनने के बाद खेला तो हो ही गया।