Dainik Athah

राग दरबारी

… और बदल गया रूट, हाथ में माला लिये खड़े रहे चेयरमैन- विधायक

रविवार को फूल वाली पार्टी के प्रदेश के मुखिया गाजियाबाद आये थे। उनके आगमन पर खोड़ा कालोनी में स्वागत करने के लिए चेयरमैन एवं उनके समर्थक खड़े थे। इसी दौरान क्षेत्र के विधायक पहुंचे तो उन्हें भी रोक लिया गया। लेकिन यह क्या, किसी ने रूट ही बदल दिया और प्रदेश के मुखिया सीधे खाली पड़े हॉल में पहुंच गये। उधर चेयरमैन- विधायक माला लिये खड़े रह गये। उन्हें जब पता चला कि मुखिया जी तो रूट बदलकर पहुंच गये। इसके बाद सभी लोग पैदल ही कार्यक्रम स्थल पर पहुंचे। चेयरमैन कहां रुकने वाली थी। उन्होंने लगे हाथ मुखिया जी से रूट बदलने की शिकायत भी कर दी। भाजपा में पहली बार इस प्रकार के मामले सामने आ रहे हैं। अब रूट बदलने वाले की भी तलाश हो रही है। लेकिन इससे फर्क क्या पड़ता है।

श्रमिक चौपाल थी या कार्यकर्ता सम्मेलन…

देश की सबसे बड़ी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष का गाजियाबाद में आगमन हुआ और अनेकों कार्यक्रमों में भाग लिया। गाजियाबाद विधानसभा में प्रदेश अध्यक्ष के आगमन पर श्रमिक चौपाल का आयोजन किया गया। जिसमें कार्यकतार्ओं की संख्या तो ठीक रही किंतु श्रमिक नजर नहीं आए। जब श्रम प्रकोष्ठ के संयोजक भीम शर्मा को श्रमिक चौपाल के बारे में बोलने को कहा गया तो उनको कार्यक्रम की पूर्ण जानकारी थी या नहीं यह तो नहीं कह सकते किंतु केवल सह भोज की चर्चा मंच से श्रम प्रकोष्ठ के संयोजक कर पाए। कार्यक्रम को देखकर अब समझ में नहीं आ रहा था कार्यक्रम श्रम प्रकोष्ठ का है या केवल उनको नाम दे दिया गया है। हालांकि श्रम विभाग के कार्यक्रमों की विस्तार से जानकारी भाजपा महानगर अध्यक्ष ने दी और बताया जगह जगह श्रमिकों के लिए चौपालों का आयोजन किया जा रहा है। वही कार्यक्रम की तारीफ करते हुए प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव ने कह दिया श्रमिक चौपाल समझे थे, यह तो कार्यकर्ता सम्मेलन निकला। इतनी बड़ी संख्या में लोग मौजूद हैं। अब प्रदेश अध्यक्ष ने तारीफ की अथवा तंज कसा यह तो सभी समझ चुके होंगे।

…दरबारी लाल

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