- पश्चिम बंगाल में भी आमजन पर छाया सीएम योगी का जादू
- ‘बुलडोजर बाबा’ की कानून व्यवस्था की छाप का बंगाल के मतदाताओं तक दिखा असर
- ‘आदित्य’ भी न डिगा सके आदित्यनाथ के प्रति प्रेम, भीषण गर्मी में भी खचाखच भरा रहा रैली स्थल
- पश्चिम बंगाल में भी गूंजे योगी-योगी के नारे, श्रीरामलला के प्रदेश ‘उत्तर प्रदेश’ से पहुंचे बाबा का जोरदार स्वागत
- योगी ने रामनवमी पर उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल में आयोजनों के अंतर से भी लोगों को कराया अवगत
- आमजन के साथ कर रहे विकास-संस्कृति की बात, यूपी की कानून व्यवस्था से माफिया भयाक्रांत
अथाह ब्यूरो
लखनऊ। सात वर्ष में उत्तर प्रदेश की दशा-दिशा बदलकर सुदृढ़ कानून व्यवस्था के पर्याय योगी आदित्यनाथ मंगलवार को पश्चिम बंगाल के चुनावी रण में उतरे। सिर्फ यूपी ही नहीं, बल्कि मंगलवार को पश्चिम बंगाल के मतदाताओं के चेहरे पर भी ‘योगी पर यकीन’ दिखा। आलम यह रहा कि ‘आदित्य’ की ताप भी आदित्यनाथ के प्रति प्रेम न डिगा सकी। तीनों रैली स्थल भीषण गर्मी में भी खचाखच भरा रहे। श्रीरामलला के प्रदेश ‘उत्तर प्रदेश’ से पहुंचे बाबा का जोरदार स्वागत हुआ। हाथों में योगी की फोटो, आंखों में दीदार की खुशी रैलियों में मौजूद हजारों बंगालवासियों के चेहरे पर साफ दिख रही थी। बुलडोजर बाबा की कानून व्यवस्था की छाप बंगाल के मतदाताओं तक दिखी। योगी आदित्यनाथ ने बंगाल वासियों से संवाद स्थापित किया और बंगाल के बदतर हालत सुधारने के लिए ‘फिर एक बार मोदी सरकार’ की हामी भी भरवाई।
पश्चिम बंगाल के चुनावी रण में उतरे योगी का जादू सिर चढ़कर बोला
पश्चिम बंगाल के चुनावी रण में मंगलवार को उतरे योगी का जादू सिर चढ़कर बोला। यहां योगी ने तीन रैलियों को संबोधित किया। बहरामपुर, बीरभूम और आसनसोल में योगी आदित्यनाथ की विशाल जनसभा हुई। तीनों सीटें वर्तमान में विपक्षी दलों के पास हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ ही यहां कमल खिलाने की जिम्मेदारी भाजपा के अन्य नेताओं के साथ ही योगी आदित्यनाथ के कंधों पर भी है। भाजपा प्रत्याशी भी अपने पक्ष में योगी की रैली चाहते हैं तो वहीं दूसरी तरफ आमजन भी बेतहाशा गर्मी और चिलचिलाती धूप में योगी आदित्यनाथ को सुनने उमड़ रहे हैं। पश्चिम बंगाल में तो योगी की तस्वीर लेकर पहुंचे पश्चिम बंगाल के मतदाताओं ने बता दिया कि योगी का दीदार पाकर वे कितने खुश हैं।
कहावत नहीं, हकीकत है- न कर्फ्यू न दंगा है, यूपी में सब चंगा है
योगी आदित्यनाथ ने सात वर्ष पहले जब यूपी की सत्ता संभाली तो वे गोरखपुर से सांसद थे, लेकिन जब मुखिया के तौर पर उप्र में दंगाइयों, अपराधियों व माफिया के खिलाफ बुलडोजर की कार्रवाई की तो पूरा देश ने उन्हें अपना नायक मान लिया। एक तरफ जहां अयोध्या में रामनवमी पर 500 वर्ष बाद अयोध्या में भगवान राम के जन्मोत्सव व सूर्य तिलक का उदाहरण देकर योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश की खुशहाली से बंगालवासियों को अवगत कराया तो वहीं रामनवमी पर पश्चिम बंगाल में दंगे और बमबाजी की बात कहकर योगी आदित्यनाथ ने ममता दीदी पर करारा प्रहार भी किया। उन्होंने संदेश दिया कि दंगाई किसी भी राज्य के हों, उनसे सर्वदा अपराधियों सा ही व्यवहार होना चाहिए। योगी ने कहा कि सात वर्ष से न कर्फ्यू, न दंगा है, यूपी में सब चंगा है। योगी की इन बातों को पश्चिम बंगाल के आमजन का बखूबी साथ मिला।
उत्तर प्रदेश के बाहर भी योगी की जबर्दस्त मांग
उत्तर प्रदेश के मुखिया योगी आदित्यनाथ को भारतीय जनता पार्टी ने अपना स्टार प्रचारक बनाया है। उनकी मांग सिर्फ उत्तर प्रदेश ही नहीं, बल्कि राज्य के बाहर भी जबर्दस्त है। योगी आदित्यनाथ उत्तर प्रदेश के अतिरिक्त अब तक उत्तराखंड, महाराष्ट्र, जम्मू, राजस्थान, छत्तीसगढ़, पश्चिम बंगाल, बिहार में भी पार्टी के लिए प्रचार कर चुके हैं। हर राज्य में उन्हें देखने-सुनने और उनकी झलक पाने के लिए जबर्दस्त भीड़ उमड़ रही है। भाजपा शासित राज्यों के अलावा भी मंगलवार को पश्चिम बंगाल में उन्हें सुनने आए मतदाताओं ने योगी-योगी के खूब नारे भी लगाए।
बिना रुके, बिना डिगे भाजपा कार्यकर्ता के रूप में निरंतर साथियों के लिए मैदान में योगी
उत्तर प्रदेश से भाजपा के पक्ष में चुनावी कमान थामने वाले योगी आदित्यनाथ भाजपा कार्यकर्ता के रूप में निरंतर पार्टी के प्रत्याशियों के लिए मैदान में हैं। बिना रुके, बिना डिगे अब तक 81 से अधिक चुनावी कार्यक्रमों में योगी ने शिरकत कर ली है। वे सिर्फ कहते ही नहीं हैं, बल्कि रैलियों में स्थानीय जनता से संवाद भी करते हैं। योगी की कानून व्यवस्था के साथ ही संवाद शैली भाजपा प्रत्याशियों के लिए काफी कारगर साबित हो रही है। योगी हर राज्यों व जनपदों की महत्ता बताकर भी स्थानीय लोगों के दिल में उतर रहे हैं। वे भारत मां और उनके लिए बलिदान देने वाले बलिदानी सैनिकों के योगदान को भी बखूबी याद कर अखंड भारत के लिए पार्टी के विचारों से भी अवगत करा रहे हैं।