- सीएम योगी के निर्देश पर प्रधानमंत्री के भव्य स्वागत में जुटा संस्कृति विभाग
- डमरू वादन, मयूर लोक नृत्य, शंख वादन से पुन: होगा दिव्यतम-भव्यतम स्वागत
अथाह संवाददाता
अयोध्या। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 30 दिसंबर 2023 को रामनगरी आए थे तो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उनका अभूतपूर्व स्वागत किया गया। 22 जनवरी 2024 को वह अद्भुत क्षण होगा, जिसका 500 वर्षों से इंतजार था, लिहाजा आयोजन भी दिव्यतम होगा। इसे देखते हुए सीएम योगी आदित्यनाथ ने इसे भव्यतम बनाने का निर्देश दिया है। प्रधानमंत्री के स्वागत को लेकर उप्र संस्कृति विभाग ने सारी तैयारी कर ली है। संस्कृति विभाग द्वारा तैयार किया गए 100 मंचों पर 2500 लोक कलाकार सांस्कृतिक शोभायात्रा के सारथी बनेंगे और नृत्य-गायन-वादन की अनेक विधाओं के जरिए कलियुग की अयोध्या में त्रेतायुग सा दीदार कराएंगे।
22 जनवरी को 100 मंच पर होंगे 2500 कलाकार
रामनगरी में 22 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गरिमामयी उपस्थिति में रामलला अपने दिव्य-भव्य मंदिर में विराजमान होंगे। प्रधानमंत्री के आगमन पर उनका भव्य स्वागत होगा। यहां 100 मंचों पर 2500 कलाकार भव्य सांस्कृतिक शोभायात्रा के सारथी बनेंगे। 21 जनवरी को इसका पूर्वाभ्यास भी किया गया। 100 स्थानों पर कलाकार भारतीय संस्कृति की खुशबू अपनी प्रस्तुति से बिखरेंगे। इनमें एयरपोर्ट के गेट नंबर-3 के सामने, गुरुदेव पैलेस के सामने, दिशा कोचिंग के सामने, जीवन साथी मैरिज लॉन, साकेत पुरी मोड़, महोबरा ब्रिज से पहले और बाद, महेश योगी रामायण के सामने, सूर्या पैलेस होटल, मल्टीलेवल पार्किंग जानकी रसोई, साकेत पेट्रोल पंप, धर्मपथ से लता चौक की तरफ, लता चौक से श्रीराम पथ की तरफ, रामजन्मभूमि गेट नंबर-एक के सामने, अरुंधति कॉम्पलेक्स से एलईडी वॉल के बगल में टेढ़ी बाजार चौराहे तक, साकेत डिग्री कॉलेज के गेट नंबर-1 के सामने, सर्किट हाउस गेट के बगल में, रामपथ प्रारंभ, पराग डेयरी, श्रीराम मंदिर गेट से लता चौक की तरफ, होटल राजा राम पैलेस समेत 100 मंचों पर कार्यक्रम होगा।
रामनगरी में यूपी की विविध दिखेगा पूरा उत्तर प्रदेश
रामनगरी में सिर्फ अवध ही नहीं, बल्कि पूरा उत्तर प्रदेश नजर आएगा। वाराणसी के मोहित चौरसिया, राजेश उपाध्याय, दीपक शर्मा डमरू वादन से जहां रामनगरी में काशी की महिमा के जरिए अपने सांसद का स्वागत करेंगे तो अयोध्या के राजीव लोचन मिश्र शंख वादन से अतिथि देवो भव: की परंपरा का साक्षात्कार कराएंगे। गाजीपुर के सल्टू राम, संजय कुमार, आजमगढ़ के सुनील कुमार, मुन्ना लाल मंचों पर धोबिया लोकनृत्य की बहार बहाएंगे। गोरखपुर के छेदी यादव, रामज्ञान, विंध्याचल आजाद फरुआही नृत्य से माटी की खुशबू बिखरेंगे तो गोरखपुर की ही सुगम सिंह शेखावत व राकेश कुमार टीम के साथ वनटांगिया जनजातीय लोकनृत्य का दीदार कराएंगी। लखनऊ की जूही कुमारी अवधी, मानसी विष्ट उत्तरांचल के नृत्य से अभ्यागतों का स्वागत करेंगे। मथुरा के खजान सिंह व महिपाल बम रसिया तो राजेश शर्मा-मणिका, माधव आचार्य, गीतकृष्ण शर्मा मयूर लोकनृत्य से ब्रज की खुशबू से अवध को महकाएंगे। झांसी के प्रदीप सिंह भदौरिया की टीम राई लोकनृत्य प्रस्तुत करेगी। सोनभद्र के कतवारू मादल वादन तो महेंदर् कर्मा आदिवासी नृत्य पेश करेंगे।