Dainik Athah

स्क्रीनिंग कमेटी अब प्रभारी की तैयार सूची पर ही कर पायेगी विचार

  • पहले से ही पार्षदों- महापौर की सूची की गई छोटी
  • जो सूची तैयार की गई उसे लेकर हो सकता है विवाद, विधायक झाड़ सकते हैं पल्लू
  • साक्षात्कार के दौरान सूची छोटी करने को लेकर हुई थी बातचीत

अथाह संवाददाता
गाजियाबाद।
गाजियाबाद नगर निगम चुनाव के लिए महापौर और पार्षदों की सूचियों में छंटनी करने के बाद उन्हें छोटा कर दिया गया है। इस मामले में स्क्रीनिंग कमेटी से कोई सलाह मशविरा नहीं किया गया है। इसको लेकर मंगलवार को होने वाली स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में आपस में विवाद उत्पन्न हो जाये तो कोई बड़ी बात नहीं।

भाजपा सूत्रों के अनुसार पिछले दिनों गाजियाबाद महापौर पद के साथ ही खोड़ा एवं मुरादनगर नगर पालिका चेयरमैन के साक्षात्कार जिले के प्रभारी मंत्री असीम अरुण की मौजूदगी में हुए थे। साक्षात्कार में स्थानीय सांसद एवं केंद्रीय मंत्री जनरल वीके सिंह, महानगर प्रभारी एवं प्रदेश मंत्री अमित वाल्मीकि, महानगर अध्यक्ष संजीव शर्मा के साथ ही महानगर महामंत्री एवं एक उपाध्यक्ष बोबी त्यागी मौजूद रहे। सूत्रों के अनुसार उसी समय यह तय कर लिया गया कि महापौर के पैनल में कौन कौन से नाम रखे जाने हैं। इतना ही नहीं पार्षदों पदों के दावेदारों की सूची में से भी छंटनी करने की बात हुई।

इसके बाद से ही महानगर प्रभारी मंडल अध्यक्षों एवं मंडल प्रभारियों के साथ बैठक कर सूचियों में छंटनी करने का काम कर रहे हैं। यह रविवार को शाम तक पूरा कर लिया गया। अब मंगलवार को संभावित स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में पहले से तैयार की गई सूची को ही कमेटी की बैठक में रखने की तैयारी चल रही है। जबकि स्क्रीनिंग कमेटी के सदस्यों के विचार इसमें शामिल नहीं किये गये। कमेटी में शामिल विधायकों को भी इसी सूची में से वरियता तय करने को कहा जायेगा। इसको लेकर बैठक में विवाद भी हो सकता है। सूत्रों की मानें तो महानगर अध्यक्ष संजीव शर्मा ने भी सूचियों की छंटाई से खुद को विवाद की संभावना के मद्देनजर अलग रखा है।

विधायकों से जवाब मांगेंगे आवेदक
सूत्रों के अनुसार सूची में छंटनी तो मंडल अध्यक्ष, मंडल प्रभारी और महानगर प्रभारी ने की है, जबकि सूची में से नाम काटे जाने को लेकर आवेदकों के निशाने पर उनसे संबंधित विधायक और महानगर अध्यक्ष रहेंगे। इसके चलते विधायकों को आवेदकों की बुराई मिलने की पूरी संभावना है। इसको लेकर भी तमाम चर्चाएं महानगर में चल रही है। एक चर्चा यह भी है कि पैनल बगैर स्क्रीनिंग कमेटी के तैयार करना था इसकी जानकारी पहले ही दी जानी चाहिये थी।



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